झारखंड कैबिनेट में धान खरीदारी पर लग सकती है मुहर, इस दर से खरीद करेगी सरकार
झारखंड में धान की खरीदारी को लेकर जल्द ही झारखंड कैबिनेट का फैसला लिया जा सकता है। धान की खरीदारी 15 दिसम्बर से हो सकती है। ऐसी भी सम्भावना जताई जा रही है कि 15 जनवरी 2024 से धान की खरीदारी किया जाए। विभागीय प्रस्ताव पर कैबिनेट को फैसला लेना है। पिछली बार भी 15 नवंबर से धान की खरीदारी होनी थी पर 15 दिसंबर से धान की खरीदारी शुरू हो सकी।
पिछली बार की तरह ही इस बार भी धान की खरीदारी का लक्ष्य करने का प्रस्ताव है। पर राज्य खाद्य निगम के प्रस्ताव से विभाग सहमत नजर नहीं आ रहा है। ऐसे में निगम के प्रस्ताव के अनुरूप लक्ष्य तय किए जाने की संभावना कम दिखती है। फिर भी कैबिनेट की बैठक में ही पिछली बार के संशोधित लक्ष्य से ज्यादा का लक्ष्य तय हो सकता है।
झारखंड सरकार ने वित्तीय वर्ष 2022-23 में धान खरीदारी का लक्ष्य 80 लाख क्विंटल तय किया था पर मौसम की बेरूखी की वजह से धान का उत्पादन काफी कम रहा। राज्य के 226 प्रखंड सूखे की चपेट में आ गए थे। इसी वजह से धान का उत्पादन कम हो पाया। इसकी समीक्षा के बाद राज्य सरकार ने खरीदारी के लक्ष्य में फिर से संशोधन कर धान खरीदारी का संशोधित लक्ष्य 36.30 लाख टन रखा गया।
पर इस संशोधित लक्ष्य को भी प्राप्त नहीं किया जा सका। इस बार पिछले साल से भी ज्यादा सूखा राज्य में पड़ा है। इसे ध्यान में रखते हुए निगम की ओर 2.25 मीट्रिक टन धान की खरीदारी का लक्ष्य का प्रस्ताव विभाग के पास पहुंचा है। पर विभाग इसमें संशोधन कर लक्ष्य को बढ़ाकर 4.67 मीट्रिक टन कर सकता है। जिसका अंतिम फैसला कैबिनेट को ही लेना है। इस बार भी राज्य सूखे की चपेट में है। जिसकी वजह से अधिकांश क्षेत्रों में धान की बुआई ही नहीं हो पाई ।
पिछले साल मिला था अतिरिक्त बोनस
किसानों को साल 2022-23 में उनके उत्पादित फसल के न्यूनतम समर्थन मूल्य पर प्रति क्विंटल के हिसाब से 10 रुपए का बोनस भी दिया गया था। झारखंड के किसानों ने सूखे की भयंकर स्थिति का भी सामना किया था। ज्ञात हो कि केंद्र सरकार ने वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सामान्य किस्म के धान के लिए एमएसपी 2040 रुपए प्रति क्विंटल और ए-ग्रेड के लिए 2060 रुपए प्रति क्विंटल तय किया था। इस वजह से सूखा प्रभावित किसान को सामान्य किस्म के धान की बिक्री के लिए 2050 रुपए मिले थे और ए-ग्रेड के लिए 2070 रुपए प्रति क्विंटल मिले।