सरकारी नौकरी बांटा : फर्जी नियुक्ति पत्र जारी कर दे रहे थे ट्रेनिंग, हुआ भंडाफोड़
झारखंड सहित देश के अन्य शहरों से केंद्रीय जांच ब्यूरो ( CBI ) ने शुक्रवार को तीन लोगों को गिरफ्तार किया है। इनपर देश में फेक जॉब रैकेट चलाने का आरोप है। खुलासा करते हुए जांच एजेंसी CBI ने बताया कि सिंडिकेट देश के कई शहरों में दो साल से कार्य कर रहा था।
इन पर आरोप है कि सरकारी नौकरी का झांसा देकर गिरोह ने करोड़ों रुपए कमाए एवं पटना- मुंबई में फर्जी नियुक्ति पत्र जारी कर 25 युवाओं को ट्रेनिंग भी दे रहे थे।
शुक्रवार को सीबीआई ने इस सिलसिले में मुंबई, मंगलुरु, पटना, धनबाद, अररिया, और बेंगलुरु में नौ ठिकानों पर छापेमारी की। धनबाद 1 के सरायढेला थाना क्षेत्र के भुईफोड़ मंदिर के पास गिरोह के एक सदस्य अमन कुमार के घर भी छापेमारी की गई। जहां से कई दस्तावेज जब्त किए गए। छापे के दौरान छह आरोपियों के खिलाफ केस भी दर्ज किया गया।
इस दौरान धनबाद से अमन कुमार, बेंगलुरू से अजय कुमार एवं अररिया से अभिषेक सिंह उर्फ विशाल को गिरफ्तार किया गया है। जिनसे पूछताछ के दौरान बताया कि ये लोग एफसीआई एवं रेलवे में नौकरी दिलाने के नाम पर युवाओं से 10-12 लाख रुपए वसूलते थे। ये पैसे प्रोसेसिंग फीस, सिक्योरिटी डिपोजिट के नाम पर लिए जाते थे।
महाराष्ट्र के नासिक निवासी अजय पानदुरांग पाटिल ने इस संबंध में मुंबई में सीबीआई से शिकायत की थी। इस शिकायत के आधार पर दो नवंबर को जांच एजेंसी ने अजय कुमार, अभिषेक, बीराबा पाटिल, रूपेश,दीपक और संध्या आदि के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू की गई थी।