रघुवर सरकार के पांच मंत्रियों पर दर्ज होगी पीई,एसीबी के गोपनीय सत्यापन रिपोर्ट के आधार कैबिनेट की मुहर
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में झारखंड कैबिनेट की बैठक हुई।कैबिनेट की बैठक में कुल 29 प्रस्तावों पर मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन के द्वारा मुहर लगी। जिसमें पूर्ववर्ती रघुवर सरकार के पांच मंत्रियों के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति के मामले में पीई (प्रीलिमिनरी इंक्वायरी) दर्ज करने की स्वीकृति दी गई है। यह फैसला महाधिवक्ता की राय एवं एसीबी की गोपनीय सत्यापन रिपोर्ट के आधार पर ली गई है।
इन पूर्व मंत्रीयों की होगी पीई जांच
पूर्व शिक्षा मंत्री डॉ नीरा यादव, पूर्व पर्यटन व खेल मंत्री अमर कुमार बाउरी, पूर्व ग्रामीण विकास मंत्री नीलकंठ सिंह मुंडा,पूर्व कृषि मंत्री रणधीर सिंह और पूर्व कल्याण मंत्री लुईस मरांडी द्वारा अर्जित आय से अधिक संपत्ति की जांच भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) से कराई जाएगी। कैबिनेट ने प्रीलिमिनरी इंक्वायरी(पीई) दर्ज करने की मंजूरी दी है। इससे पहले 31 मई 2022 को मुख्यमंत्री ने पीई दर्ज करने का आदेश दी थी। एसीबी आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने के मामले का प्राथमिक अनुसंधान करेगी। अनुसंधान में आए तथ्यों के आधार पर ही आगे की एफआईआर दर्ज की जाती है।
क्या है पीई
एसीबी के द्वारा सरकारी पद पर रहे किसी व्यक्ति के खिलाफ पीई को जांच का पहला चरण माना जाता है। विभागीय आदेश के बाद किसी मामले में प्रीलिमिनरी इंक्वायरी कराई जाती है और पीई में दोषी पाए जाने के बाद एसीबी मामले की जानकारी मंत्रिमंडल निगरानी विभाग को देती है। इसके बाद संबंधित मामले में एफआईआर दर्ज की जाती है।